नमस्ते.वणक्कम्
हिंद देश परिवार।
सभी इकाइयों को समर्पण
++++++++++++++
सुनहरा भविष्य।
मौलिक विधा
मौलिक रचना
23-9-2021
भविष्य किसका है सुनहरा?
जो भविष्य की चिंता न करके,
वर्तमान में कर्तव्य निभाते हैं,
उनका भविष्य सुनहरा।
भूत के संतापों को भूलकर
वर्तमान में खुशी रहता है
उसका है भविष्य सुनहरा।।
भगवान जो पद देता है,
बगैर भ्रष्टाचार व रिश्वत न लेकर
फ़र्ज़ निभाते हैं,उनका भविष्य सुनहरा।
भगवान की प्रार्थना,
निस्वार्थ दान धर्म करता हे,
उसका भविष्य है सुनहरा।
जो लोभ लालच में
अहंकार और काम में न पडते ,
उनका भविष्य है सुनहरा।
स्वरचित स्वचिंतक एस अनंतकृष्णन चेन्नै तमिलनाडु हिंदी प्रेमी प्रचारक
No comments:
Post a Comment