मंगलवार।२३-३-२९२१!
साहित्य संगम संस्थान इकाई हरियाणा।
रंग -लाल।
विधा --अपनी शैली अपनी भावाभिव्यक्ति।
विधा निर्णय पाठक -समालोचक।
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लाल रंग शहीदों की निशानी।
धरती के लाल वीर सैनिक।
खून का रंग लाल।
आँखें लाल होना क्रोध के कारण।
गाल लाल होना
लज्जा के कारण।।
सूर्योदय लालिमा
अति सुन्दर।।
सूर्यास्त लालिमा दर्शनीय।।
लाल पाल बाल
लाला लजपतिराय,देश का लाल।।
लाली मेरे लाल की जित देखो तित लाल।।
लाली देखन मैं गई, मैं भी हो गई लाल।।
स्वरचित स्वचिंतक एस अनंतकृष्णन चेन्नै तमिलनाडु हिंदी प्रेमी प्रचारक।
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