नमस्ते। वणक्कम। நமஸ்தே . வணக்கம் .
कलमकार कुंभ साहित्यसंस्थान ,दिल्ली।
१२-२ -2021
विषय ---कुण्डल குண்டலம்
विधा --अपनी भावाभिव्यक्ति। अपनी शैली।
------------------------------------
कुंडली कर्णाभूषण , குண்டலி செவி ஆபரணம்
अति आकर्षक। --------அதிக கவர்ச்சி .
जन्म कुंडली - भविष्य प्रकाशक .
तमिल के पंच महाकाव्यों में एक
कुंडल केशी घुँघरू सुन्दर बालवाली नायिका।
कुंडल शब्द अति प्रचलित ,
दान वीर कर्ण कवच कुंडल।
कर्ण कुण्डल ,कवच कुण्डल ,कुंडल केशी
भारतीय आध्यात्मिक आ सेतु हिमाचल तक।
अति प्रसिद्ध विचारात्मक एकता का प्रमाण।
स्वरचित स्वचिंतक एस अनंतकृष्णन ,चेन्नै
तमिलनाडु हिंदी प्रेमी प्रचारक।
No comments:
Post a Comment